कान्हा टाइगर रिजर्व देश का सर्वश्रेष्ठ बाघ आवास घोषित, सर्वाधिक शाकाहारी वन्यजीव मिले

 भारतीय वन्यजीव संस्थान (WII), देहरादून द्वारा जारी एक रिपोर्ट के अनुसार, कान्हा में शाकाहारी वन्यजीवों की संख्या देश में सबसे अधिक है, जो इसे जैविक रूप से समृद्ध और संतुलित पारिस्थितिकी तंत्र बनाती है।

भोपाल: मध्य प्रदेश का कान्हा टाइगर रिजर्व (Kanha Tiger Reserve KTR) देश के सर्वश्रेष्ठ बाघ आवास क्षेत्र के रूप में उभरा है। भारतीय वन्यजीव संस्थान (WII), देहरादून द्वारा जारी एक रिपोर्ट के अनुसार, कान्हा में शाकाहारी वन्यजीवों की संख्या देश में सबसे अधिक है, जो इसे जैविक रूप से समृद्ध (Ecologically Rich) और संतुलित पारिस्थितिकी तंत्र (Wildlife Ecosystem) बनाती है।

कान्हा टाइगर रिजर्व: एक नजर में

स्थान: मंडला जिला, मध्य प्रदेश
कुल क्षेत्रफल: 2,074 वर्ग किमी (कोर: 917.43 वर्ग किमी, बफर: 1,134 वर्ग किमी)
शाकाहारी वन्यजीवों की संख्या: 1,02,485 (घनत्व: 69.86 प्रति वर्ग किमी)
कुल बायोमास: 12.6 लाख किलोग्राम (8,602.15 किलोग्राम/वर्ग किमी)

वन्यजीव समृद्धि में अव्वल

कान्हा में चीतल, सांभर, गौर, जंगली सुअर, बार्किंग डियर, नीलगाय और हॉग डियर जैसी प्रजातियों की भरपूर उपस्थिति है। यही कारण है कि बाघों की बढ़ती आबादी के लिए इसे आदर्श निवास स्थल माना गया है।

प्रबंधन रणनीतियाँ जो बनीं सफलता की आधारशिला

  • आवास सुधार: घास के मैदानों का रखरखाव, जल स्रोतों का निर्माण, और आक्रामक प्रजातियों (जैसे लांटाना घास) का उन्मूलन।
  • जल प्रबंधन: गर्मियों में सोलर बोरवेल, कृत्रिम जलकुंड, और तालाबों का गहरीकरण कर जल संकट को दूर किया गया।
  • गश्त एवं निगरानी: M-STriPES मोबाइल ऐप के माध्यम से सतत निगरानी। अप्रैल 2025 में 88,600 किमी क्षेत्र में गश्त की गई, जो देश में सबसे अधिक है।
  • गाँवों का स्थानांतरण: कोर क्षेत्र से गाँवों को हटाने के बाद घास के मैदान पुनर्जीवित हुए, जिससे वन्यजीवों को अधिक स्वतंत्रता मिली।
  • प्रजाति प्रबंधन: चीतल और गौर जैसी प्रजातियों का कम घनत्व वाले क्षेत्रों में स्थानांतरण किया गया, जिससे उनकी संख्या में वृद्धि हुई।
कान्हा: एक मॉडल टाइगर रिजर्व
  • उच्च बायोमास और संतुलित प्रजाति वितरण
  • न्यूनतम मानव-वन्यजीव संघर्ष
  • वैज्ञानिक प्रबंधन और तकनीकी निगरानी
मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने दी बधाई

इस उपलब्धि पर मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने वन विभाग के अधिकारियों और कर्मचारियों को बधाई दी है। उन्होंने कहा कि “कान्हा की सफलता अन्य टाइगर रिजर्व के लिए प्रेरणा है।”

कान्हा टाइगर रिजर्व की यह उपलब्धि मध्य प्रदेश सरकार के वन्यजीव संरक्षण के प्रयासों की सफलता को दर्शाती है।

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