नई दिल्ली: देश के ग्रामीण युवा आर्मी, पुलिस, टीचिंग, मेडिकल और इंजिनियरिंग के क्षेत्र में करियर बनाना ज्यादा पसंद करते हैं। लड़कों की पहली दो पसंद आर्मी और पुलिस में जाना है, वहीं लड़कियां टीचिंग और मेडिकल प्रफेशन को चुनना पसंद करती हैं। कृषि, IAS और IPS को लेकर कम रूझान दिखा है। यह बात एनुअल स्टेटस ऑफ एजुकेशन रिपोर्ट (ग्रामीण) 2023- बियॉन्ड बेसिक्स में सामने आई है। सर्वे में एक खास बात उभरकर सामने आई है कि 21 प्रतिशत युवा ये बता ही नहीं पाए कि वे क्या बनना चाहते हैं, वहीं 14-18 आयु वर्ग में ऐसे युवा भी हैं, जो कोई काम करना ही नहीं चाहते, हालांकि ऐसे युवाओं की संख्या करीब 2 प्रतिशत ही है। कृषि, स्पोर्ट्स में करियर बनाने में युवाओं की रूचि कम है। 4.6 प्रतिशत ग्रामीण युवा सरकारी नौकरी चाहते हैं, जबकि प्राइवेट जॉब पसंद करने वालों का प्रतिशत 1.6 है।लड़कों की पहली पसंद है आर्मी और पुलिससर्वे में एक बात साफ हुई है कि अलग-अलग जिलों में सामाजिक- आर्थिक आधार करियर चॉइस में काफी महत्वपूर्ण रोल अदा करता है। लड़कों की बात करें तो 13.8 प्रतिशत आर्मी में जाना चाहते हैं तो 13.6 प्रतिशत की पसंद पुलिस फोर्स है। वहीं, IAS बनने की चाहत रखने वाले ग्रामीण युवाओं का प्रतिशत 2.0 है। केवल 1.4 प्रतिशत ही IPS बनना चाहते हैं। सर्वे में जितनी लड़कियों से बात की गई, उसमें से 16 प्रतिशत की पसंद टीचिंग और 14.8 प्रतिशत डॉक्टर बनना चाहती है। यूपी के हाथरस जिले में कई लड़कियां यह बताने में नाकाम रहीं कि वे क्या बनना चाहती हैं, वहीं हिमाचल प्रदेश के सोलन में ज्यादातर लड़कियों ने टीचिंग और डॉक्टर बनने की इच्छा जाहिर की। पुलिस फोर्स में लड़कियां भी भर्ती होना चाहती हैं। टीचिंग और डॉक्टरी के बाद 12.5 प्रतिशत लड़कियों की पसंद पुलिस फोर्स है और 8.4 प्रतिशत नर्सिंग की फील्ड में जाना चाहती हैं। कर्नाटक, महाराष्ट्र और गुजरात में बड़ी संख्या में लड़कियां पुलिस फोर्स को जॉइन करना चाहती हैं। त्रिपुरा, राजस्थान और छत्तीसगढ़ में टीचिंग को करियर बनाने वालों की संख्या काफी ज्यादा है।डॉक्टर बनना चाहती हैं लड़कियांजम्मू-कश्मीर के अनंतनाग जिले में 41.7 प्रतिशत लड़कियां डॉक्टर बनना चाहती है, जबकि यहां पर 31.3 प्रतिशत लड़कों की चॉइस डॉक्टरी प्रफेशन है। वहीं तमिलनाडु के एक जिले में 21 प्रतिशत लड़कियां और 9.7 प्रतिशत लड़के डॉक्टर बनना चाहते हैं। इंजिनियरिंग में यह अपोजिट ट्रेंड है। बिहार के मुजफ्फरपुर जिले में 10 प्रतिशत से ज्यादा लड़के इंजीनियरिंग को पसंद करते हैं, वहीं लड़कियों की संख्या 2.7 प्रतिशत है। हरियाणा के सिरसा में भी लड़कों और लड़कियों के बीच पांच पर्सेंट का अंतर है। आंध्र प्रदेश, हिमाचल के कांगड़ा, नगालैंड के कोहिमा और उत्तराखंड के टिहरी गढ़वाल में सबसे ज्यादा युवा आर्मी में जाना चाहते हैं। वहीं पुलिस फोर्स में मैसूर, महाराष्ट्र के नांदेड़, यूपी के हाथरस, बिहार के मुजफ्फरपुर के युवा जाना चाहते हैं।ग्रामीण इलाकों में इंजिनियरिंग फैक्टरइंजिनियरिंग में लड़कियों की संख्या कम रही है। 2024 में होने वाली जेईई मेन परीक्षा को भी देखें तो आवेदन करने वाले लड़कों की संख्या 8,23,842 है, जबकि 4,06,486 छात्राओं (करीब 33%) ने परीक्षा के लिए आवेदन किया है, जिसमें से शहरी क्षेत्रों में रहने वाली लड़कियों की संख्या ज्यादा है। कुल आवेदन 12.30 लाख से ज्यादा हैं। सर्वे के आंकड़े भी इस बात की गवाही दे रहे हैं कि ग्रामीण इलाकों में लड़कियां इंजिनियरिंग से ज्यादा डॉक्टर और नर्स बनना ज्यादा पसंद करती हैं। बिहार के मुजफ्फरपुर में 10.9 पर्सेंट लड़के और 2.7 प्रतिशत लड़कियां इंजिनियरिंग कोर्स करना चाहती हैं।