नई दिल्ली: दिल्ली सरकार के परिवहन विभाग ने मंगलवार को पुरानी गाड़ियों के खिलाफ कार्रवाई से जुड़े नियमों और प्रावधानों को साफ करते हुए नई गाइडलाइंस जारी कर दी है। अधिकारियों का कहना है कि अब इन्हीं गाइडलाइंस के अनुसार पुरानी गाड़ियों के मामले में कार्रवाई की जाएगी। परिवहन विभाग जल्द ही हाई कोर्ट को भी इन गाइडलाइंस से अवगत कराएगा, ताकि अगर कोई व्यक्ति अपनी जब्त की गई गाड़ी को छुड़ाने की अपील लेकर कोर्ट में जाए, तो कोर्ट इन गाइडलाइंस के आधार पर उचित निर्णय ले सके। ये गाइडलाइंस ओल्ड एज चीकल्स के खिलाफ कार्रवाई के मामले में एनफोर्समेंट एजेंसियों, स्क्रैपर्स और गाड़ी के ओनर्स के अधिकारों और सीमाओं को स्पष्ट करती है।पुरानी गाड़ियों को लेकर क्या कहते हैं नियम दरअसल, दिल्ली-एनसीआर में डीजल की 10 स्खल और पेट्रोल की 15 साल से ज्यादा पुरानी गाड़ियों के चलाने पर पाबंदी है। ऐसी गाड़ियों को जब्त करके स्क्रैप करने का प्रावधान है। हालांकि, अगर कोई व्यक्ति अपने ओवर एज वीकल को दिल्ली के बाहर किसी अन्य राज्य में रजिस्टर्ड कराना चाहता है, तो उसके लिए भी कुछ प्रावधान हैं। साथ ही स्क्रैप डीलरों के लिए भी नियम बने हुए हैं। इस सबके बावजूद पुरानी गाड़ियों के खिलाफ कार्रवाई को लेकर कई तरह के विवाद सामने आ रहे थे और परिवहन विभाग को लोगों की तरफ से कई शिकायतें भी मिल रही थीं। सबसे ज्यादा शिकायतें स्क्रैपर और एनफोर्समेंट टीमों की मनमानी को लेकर की जा रही थीं। कई लोगों को तो अपनी जन्त की गई गाड़ियां छुड़वाने के लिए हाई कोर्ट भी जाना पड़ रहा था। कोर्ट के आदेशों के चलते ही परिवहन विभाग की एनफोर्समेंट ड्राइव भी पिछले करीब 6 महीने से रुकी हुई है। पिछले साल अगस्त में हाई कोर्ट ने परिवहन विभाग को इस संबंध में स्पष्ट नीति बनाने का आदेश भी दिया था। उसी पर अमल करते हुए अब परिवहन विभाग की स्क्रैपिंग सेल के स्पेशल कमिश्नर ने मंगलवार को ये गाइडलाइंस जारी की है।नए नियमों की खास बातें➤किसी भी पब्लिक प्लेस, जैसे सड़क, फुटपाथ, ड्रेनेज, सरकारी पार्किंग जैसी जगहों पर खड़े ओवरएज बीकल्स को एनफोर्समेंट एजेसी जब्त कर सकेगी। ➤अगर गाड़ी का रजिस्ट्रेशन रद्द हो चुका है और वह स्क्रैप करने योग्य है, तो ऐसी गाड़ियों को स्क्रैपिंग फेसिलिटी में भेजा जाएगा।➤सड़क पर चल रही या पब्लिक प्लेस पर पार्क की हुई ओवरएज गाड़ी को केवल पहली बार जब्त करने पर ही छोड़ा जाएगा। दूसरी बार में कोई छूट नही मिलेगी। ➤गाडियां केवल इसी शर्त पर छोड़ी जाएगी कि ओनर उन्हें दिल्ली के बाहर किसी अन्य राज्य रजिस्टर्ड कराएगा।