खुद को साबित नहीं, खोजने की कोशिश करो…कोटा में पढ़ने वाले हर बच्चे को आनंद महिंद्रा की ये बात सुननी चाहिए

नई दिल्ली: राजस्थान के कोटा में छात्रों के आत्महत्या का मामला आज देशभर में चर्चा का मुद्दा बन गया है। लोग हैरान है कि आखिर कोटा में ऐसा क्यों हो रहा है? जो छात्र वहां अपना करियर बनाने जाते हैं, आखिर वो मौत को क्यों गले लगा रहे हैं? कोटा में छात्रों के बढ़ते आत्महत्या के मामलों ने कारोबारी (Anand Mahindra) को भी परेशान कर दिया है। महिंद्रा एंड महिंद्रा के चेयरमैन आनंद महिंद्रा ने एक्स ( ट्विटर) पर कोटा को लेकर चिंता जाहिर करने के साथ ही छात्रों को बहुत ही अच्छी सलाह दी है। सिर्फ कोटा ही नहीं हर छात्र को महिंद्रा की इस सलाह को समझना चाहिए। खुद को साबित करने के बजाए खुद को खोजने की कोशिश करोआनंद महिंद्रा ने कोटा में पढ़ रहे बच्चों को अपने तनाव को कम करने के लिए उन्हें एक सलाह दी है। उन्होंन लिखा कि कोटा में बढ़ते आत्महत्या से वो चिंतित है। आनंद महिंद्रा ने बच्चों के लिए जो बातें लिखी, वो कोटा ही नहीं देश की किसी भी शहर, गांव , कस्बे में रहने वाले बच्चों को पढ़नी चाहिए। आनंद महिंद्रा ने लिखा कि जिंदगी के इस पड़ाव पर छात्रों का लक्ष्य खुद को साबित करना नहीं बल्कि खुद को खोजना होना चाहिए। उन्होंने प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी कर रहे छात्रों को खुद को साबित करने के बजाए खुद को खोजने की सलाह दी है। महिंद्रा लिखते हैं कि अगर आप एक परीक्षा में सफल नहीं होते तो समझ लीजिए कि आपकी असली प्रतिभा कहीं और है। आपको बस अपने आपको खोजते रहते हैं। एक दिन ऐसा आएगा, जब आप खुद को खोज लेंगे। उस दिन आप पाएंगे कि आप वहां सर्वश्रेष्ठ हैं।जो सफल नहीं होते, उनके लिए कुछ और बना हैसही भी है, अगर आपने खुद को खोज लिया को सफलता खुद आप तक चलकर आएगी। एक्स (ट्विटर) पर एक पोस्ट के जवाब में ये बातें उन्होंने लिखी हैं। उन्होंने लिखा कि इस खबर से मैं भी उतना ही परेशान हूं, जितना आप हैं। देश के इतने सारे उज्ज्वल भविष्यों को ख़त्म होते देखना बेहद दुखद है। जो छात्र परीक्षा में सफल नहीं हो पाते या कम नंबर पाते हैं, इसका मतलब ये नहीं कि वो कमजोर हैं। परीक्षा में सफल न होना आत्म विश्लेषण का एक जरिया बस है। जो वहां सफल नहीं होते, उनके लिए कुछ और बना है। जिंदगी तो अनमोल है, एक बार ही मिलती है, इसे हार कर खत्म कर देना सही नहीं है।