लोकसभा चुनाव के लिए नॉर्थ ईस्ट के ये राज्य हैं काफी अहम, 2019 में चला था BJP का जादू, क्या इस बार दिखेगा कमाल

पूर्वोत्तर भारत में ऐसे कई राज्य हैं जिनके खाते में केवल एक या दो लोकसभा सीटें हैं, जैसे अरुणाचल प्रदेश, मणिपुर, मेघालय, त्रिपुरा, मिजोरम, नागालैंड और सिक्किम। हालाँकि, इन राज्यों की आम जनता के बीच कई समानताएँ हैं जो उन्हें किसी भी लोकसभा चुनाव परिणाम के दौरान सामूहिक रूप से बहुत महत्वपूर्ण बनाती हैं। क्षेत्रीय दलों का इस क्षेत्र में ऐतिहासिक रूप से वर्चस्व रहा है, राष्ट्रीय दलों को अपनी स्थिति स्थापित करने में कठिनाई हो रही है। बहरहाल, 2014 और 2019 के लोकसभा चुनावों में अपने प्रभावशाली प्रदर्शन को देखते हुए भाजपा आगामी आम चुनावों में जीत के लिए एक बड़ी दावेदार बन गई है।  इसे भी पढ़ें: ‘विपक्ष को अपने परिवार की चिंता’, Tamil Nadu में बोले PM Modi- 2024 में एक नया इतिहास रचने जा रहा हैसीटों का समीकरणउत्तर पूर्वी राज्यों अरुणाचल प्रदेश, मणिपुर, मेघालय, त्रिपुरा, मिजोरम, नागालैंड और सिक्किम में आम तौर पर चुनाव अवधि की पहली तिमाही में आयोजित किए जाते हैं, जिसका मतलब है कि इन सभी छह राज्यों में 2024 के लोकसभा चुनाव की समय अवधि अप्रैल के महीने में हो सकती है। मणिपुर जहां ईसीआई (भारत का चुनाव आयोग) दो चरणों में लोकसभा मतदान कराता है, को छोड़कर सभी पूर्वोत्तर राज्यों में आम चुनाव आमतौर पर एक ही चरण में होते हैं। इसी तरह, अरुणाचल प्रदेश, मेघालय, त्रिपुरा, मिजोरम, नागालैंड और सिक्किम में एक बार फिर एक ही चरण में चुनाव होंगे जबकि मणिपुर में दो चरणों में चुनाव बो सकते हैं। पूर्वोत्तर के सात राज्यों अरुणाचल प्रदेश, मणिपुर, मेघालय और त्रिपुरा में कुल दो लोकसभा सीटें हैं, जबकि मिजोरम, नागालैंड और सिक्किम के खाते में एक-एक लोकसभा सीट है। इन क्षेत्रों का नेतृत्व आमतौर पर क्षेत्रीय दलों द्वारा किया जाता था, लेकिन 2014 और 2019 के आम चुनावों के बाद, भाजपा ने धीरे-धीरे इन क्षेत्रों में अपने पैर जमाने शुरू कर दिए हैं।2019 के नतीजे2019 के लोकसभा चुनाव में अरुणाचल प्रदेश की दोनों सीटों पर भाजपा ने कब्जा जमाया था। अरुणाचल प्रदेश पश्चिम सीट पर जीतने वाले किरेन रिजिजू मोदी सरकार में बड़े मंत्री हैं। मणिपुर की बात करें तो वहां की भीतरी मणिपुर सीट पर भाजपा ने चुनाव जीता था जबकि बाहरी सीट पर एनपीएफ को जीत मिली थी। मणिपुर से आने वाले आर रंजन सिंह को मोदी सरकार में मंत्री बनाया गया है। मेघालय की शिलांग सीट पर कांग्रेस की जीत हुई थी जबकि तरा सीट पर एनपीपी ने जीत हासिल की थी। त्रिपुरा की दोनों ही सीटों पर भाजपा ने बुलंद जीत हासिल की थी। प्रतिमा भौमिक अभी मोदी सरकार में मंत्री हैं। मिजोरम की एक सीट पर एमएनएफ की जीत हुई थी जबकि नागालैंड की एक सीट पर एनडीपीपी ने जीत हासिल की थी। सिक्किम की एक सीट पर एसकेएम को जीत मिली थी। इसे भी पढ़ें: Ab ki baar, 400 paar: वोटों में इजाफा से होगा सीटों का मुनाफा, 370 सीटें ही नहीं, 50 % वोट के आंकड़ों को छूना है मकसदऐसे में देखना होगा कि इस बार क्या उम्मीदवारों में बदलाव होता है या जीते हुए प्रत्याशियों को फिर से टिकट दिया जा सकता है। भाजपा पूर्वोत्तर को लेकर लगातार महत्वपूर्ण रणनीति बनाती रहती है। भाजपा के एजेंडे में पूर्वोत्तर काफी महत्व रखता है। कई केंद्रीय मंत्री लगातार पूर्वोत्तर का दौरा भी करते रहते हैं।