पूर्व केन्द्रीय मंत्री और कांग्रेस के वरिष्ठ नेता सलमान खुर्शीद ने शनिवार को शनिवार को संभावना जतायी कि आगामी दिनों में होने वाली बैठकों में विपक्षी दलों की एकजुटता का मसला हल हो जाएगा।
लखनऊ में एक दिवसीय दौरे पर आये सलमान खुर्शीद ने पत्रकारों से बातचीत में भारतीय जनता पार्टी नीत राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) के मुकाबले विपक्षी दलों के एकजुट होने के सवाल परकहा कि आगामी दिनों में सभी विपक्षी दलों की बैठक होनी है उसमें विपक्षी दलों की एकजुटता का मुद्दा हल हो जायेगा।
कांग्रेस प्रदेश मुख्यालय से जारी एक बयान के अनुसार खुर्शीद ने यहां लखनऊ के कांग्रेस नेताओं एवं कार्यकर्ताओं की बैठक को सम्बोधित किया। बैठक में प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष पूर्व सांसद बृजलाल खाबरी, प्रांतीय अध्यक्ष पूर्व मंत्री नसीमुद्दीन सिद्दीकी, नकुल दुबे प्रमुख रूप से मौजूद रहे।
खुर्शीद ने समान नागरिक संहिता, जातिगत जनगणना, मणिपुर हिंसा तथा विपक्षी दलों के लोकसभा चुनाव में एकजुटता आदि मुद्दों पर अपनी बात रखी। उन्होंने समान नागरिक संहिता पर सवाल उठाया कि 2018 में जब विधि आयोग का गठन हो चुका था तो अब पुनः इसके गठन की आवश्यकता क्यों है? खुर्शीद ने मणिपुर हिंसा के लिए पूरी तौर से केन्द्र की मोदी सरकार जिम्मेदार ठहराया।
बैठक में खुर्शीद ने अगले साल होने वाले लोकसभा चुनावों में कांग्रेस की जीत सुनिश्चित करने के लिए कार्यकर्ताओं के सुझाव मांगे। उन्होंने कहा , ‘‘ हम उत्तर प्रदेश में लगभग 33 वर्षों से सत्ता से दूर हैं लेकिन अब कुछ बदलाव होना चाहिए। 2009 के लोकसभा चुनाव में हमने सभी राजनीतिक दलों को करारी शिकस्त देते हुए प्रदेश में 22 सीटों पर जीत हासिल की थी।आज फिर हमें उसी ताकत से खड़े होना होगा। यदि हम नहीं खडे़ हो पाये तो यह प्रदेश कहां जायेगा इसका अंदाज भी नहीं लगाया जा सकता।’’
बयानमें खुर्शीद ने कहा,‘‘ हमें अपनी आने वाली पीढ़ियों के बेहतर भविष्य के लिए आगे आकर लड़ाई लड़नी होगी।
उन्होंने कहा , आज देश में नफरत एवं विघटन की राजनीति हो रही है। हिन्दू और मुस्लमान को आपस में लड़ाने की साजिशें रची जा रही हैं, लेकिन जो लोग ऐसा कर रहे हैं वे शायद यह जानते हैं कि हमारा देश गंगा-जमुनी तहजीब का देश है। जहां प्रकृति भी हमें आपस में भाईचारे के साथ रहने का संदेश देती है।
उन्होंने दावा किया , अगर हम एक साथ मिलकर काम करेंगे तो अवश्य ही हम फिरकापरस्त ताकतों को हराकर देश, संविधान और लोकतंत्र को बचा सकते हैं तथा कांग्रेस पार्टी को फिर से सत्ता में वापस ला सकते हैं।