उज्जैन के बड़नगर तहसील के बदनावर रोड के पास रुनिजा रोड पर एक खेत में बने कमरे चार्जिंग के दौरान मोबाइल फटने से एक 60 साल के शख्स की मौत हो गई. धमाका इतना जोरदार था कि बुजुर्ग के शरीर के चिथड़े उड़ गए. मौके पर पहुंची पुलिस ने मामले की जांच शुरू कर दी है. जानकारी के अनुसार, घटना बड़नगर तहसील की है. जहां रुनिजा रोड पर दयाराम बारोड़ (60) खेत पर बने कमरे में अकेले रहते थे. सोमवार को उनके मोबाइल में धमाका हुआ जिससे उनकी मौत हो गई.
बड़नगर थाना प्रभारी मनीष मिश्रा ने बताया कि पुलिस को सूचना मिली थी किसी व्यक्ति की लाश घर में पड़ी हुई है, जिसके बाद मौके पर पहुंचकर मामले की जांच की तो पता चला कि कोई विस्फोट हुआ है. घटना स्थल का निरीक्षण किया तो ओप्पो कंपनी का मोबाइल फोन डिस्मेंटल कंडीशन में मिला है. बिजली पाइंट भी पूरी तरह जला हुआ था. मौके पर अन्य कोई विस्फोटक या ज्वलनशील सामग्री भी नहीं मिली है.
पहले ही हो चु कि थी दयाराम की मौत
बताया जा रहा है कि मृतक दयाराम के खेत के ऊपर से हाईटेंशन लाइन भी निकली है. सोमवार को उन्हें अपने दोस्त दिनेश चावड़ा के साथ गमी के एक कार्यक्रम में इंदौर जाना था. दिनेश ने रेलवे स्टेशन जाकर उनके लिए भी इंदौर जाने का टिकट ले लिया था. जब काफी देर तक वे स्टेशन नहीं पंहुचे तो दोस्त दिनेश ने उन्हें फोन लगाया. फोन उठाते ही मोबाइल बंद हो गया. इसके बाद फोन लगातार बंद आता रहा. जिसके बाद दिनेश उन्हें देखने खेत पर पहुंचे, तो वहां का नजारा देख उनके होश उड़ गए. उन्होंने पुलिस को इस बात की खबर दी.
ये भी पढ़ें- कभी 125 लोगों की ली थी जान, आज 100 साल की उम्र में घर बचाने के लिए लड़ रहे हैं डाकू पंचम सिंह
मोबाइल ब्लास्ट या बॉम्बाइल क्यों फट रहे हैं फोन….?
डॉक्टरो के अनुसार स्मार्टफोन के फटने या आग लगने का मुख्य कारण स्मार्टफोन का अत्यधिक गर्म होना है. ऐसे कई कारण हैं जिनकी वजह से स्मार्टफोन ज्यादा गरम हो सकते हैं. अत्यधिक गेमिंग और बहु कार्यण (मल्टीटास्किंग) के बाद स्मार्टफोन गर्म हो सकते हैं. कई जगहों से मोबाइल फोन के अचानक हाथ मे या जेब में या कॉल रिसीव करने के बाद फटने की खबरें आती हैं इसे ही मोबाइल ब्लास्ट या बॉम्बाइल कहते हैं जिससे रोगी, परिवार के सदस्यो और समाज दोनों पर शारीरिक और मानसिक रूप से विनाशकारी परिणाम देखने को मिल रहे हैं.
तकनीक के आधुनिक दौर में मोबाइल ब्लास्ट हाथ में चोट लगने का एक नया तरीका बनकर उभर रहा है. यह घाव के एक विस्तृत स्पेक्ट्रम का प्रतिनिधित्व करता है जिसमें एक साधारण घाव से लेकर अंगच्छेदन तक विनाशकारी शारीरिक आघात और जटिलताएं होती हैं इसलिए, मोबाइल सुरक्षा दिशानिदेर्शों का पालन करके रोकथाम हमेशा बेहतर होती है. हाथ की ब्लास्ट इंजरी के प्रबंधन में पोस्ट-आॅपरेटिव फिजियोथेरेपी के साथ प्रारंभिक डेब्रिडमेंट और घाव कवरेज की ओर ध्यान देना है.
ये भी पढ़ें- दहलाने की फ़िराक में था आतंकी, 12 साल हांगकांग में फिर चीन में ट्रेनिंग, गिरफ्त में