ऐसा लगता है राम नवमी और हनुमान जयंती केवल दंगों के लिए हैं… NCP नेता जितेंद्र आव्हाड के बयान से बखेड़ा

मुंबईः राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी के एक नेता ने विवादित बयान द‍िया है। एनसीपी विधायक जितेंद्र आव्हाड ने रामनवमी के दिन छत्रपति संभाजीनगर समेत राज्य के कई हिस्सों में हुई दंगों की घटनाओं पर कहा कि ऐसा लगता है कि रामनवमी और हनुमान जयंती सिर्फ राज्य में दंगे कराने के लिए है।

उन्‍होंने कहा कि आने वाला साल सांप्रदायिक दंगों का साल होगा क्योंकि सत्ताधारी देश के युवाओं को नौकरी नहीं दे पा रहे हैं। महंगाई को कम नहीं कर सकते, इसलिए सरकार के पास धार्मिक समारोह करके वोट बटोरने के अलावा कोई दूसरा ऑप्‍शन नहीं है। उधर, इस बयान पर बीजेपी नेता बिफर गए हैं। आव्हाड के विवादित बयान का विरोध करते हुए बीजेपी ने घाटकोपर पुलिस स्टेशन में शिकायत दर्ज कराई है।

उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने भी कहा कि राम और हनुमान भक्तों का अपमान कोई नहीं सहेगा। उन्होंने सुझाव दिया कि धार्मिक मामलों को लेकर नेताओं को विवादित बयान देने से बचना चाहिए। उप मुख्यमंत्री ने कहा कि जितेंद्र आव्हाड का यह बयान आपत्तिजनक है। रामनवमी मी हो या हनुमान जयंती, ये त्योहार शांतिपूर्वक मनाए जाते हैं। लोगों की राम और हनुमान में बहुत आस्था है जो इस समय व्यक्त होती है। यह कहना कि ये त्योहार दंगों के लिए मनाए जा रहे हैं, पूरे समाज और राम भक्तों का अपमान है, मुझे लगता है।

शनिवार को घाटकोपर में आयोजित एनसीपी कार्यकर्ताओं और पदाधिकारियों की एक बैठक में पूर्व मंत्री जितेंद्र आव्हाड ने विवादित बयान दिया। उन्होंने कहा कि ऐसा लगता है जैसे रामनवमी और हनुमान जयंती सिर्फ दंगों के लिए ही मनाई जाती है।

आव्हाड ने कहा क‍ि जिस तरह से रामनवमी और हनुमान जयंती मनाई जाती है, घर में राम और हनुमान की पूजा होती है, उसका मैंने अनुभव किया। हालांकि, मैंने कहा है कि ऐसे हालात बनाए जा रहे हैं कि रामनवमी-हनुमान जयंती समारोह सिर्फ दंगों के लिए है। इससे इस पर्व की बदनामी हो रही है। मैं एक हिंदू हूं, एक कट्टर हिंदू हूं।

जितेंद्र आव्हाड ने यह भी कहा कि भगवान राम एक हिंदू हैं जो वसुधैव कुटुम्बकम में विश्वास करते हैं। माता की बात मानने वाले, भाई का आदर करने वाले राम को सब जानते हैं। ये पर्व समाज में एकता का निर्माण करते हैं। लेकिन समाज में जहर बोया जा रहा है। ऐसा न हो कि आव्‍हाड ने यह भी कहा कि समाज में नफरत फैलाने से देश का नुकसान होता है।