लाखों की लागत से बना अस्पताल, फिर भी लिफ्ट बंद, सीढ़ियां चढ़ने को मजबूर गर्भवती; सब बेफिक्र

मध्य प्रदेश के शाजापुर जिले में जिला चिकित्सालय ट्रामा सेंटर को बने हुए करीब 3 साल बीत चुके हैं. जहां करोड़ों की लागत से ट्रामा सेंटर बनाया गया. लेकिन कहीं ना कहीं इतनी लागत से बने हुए ट्रामा सेंटर में ऐसी चीजें देखने को मिलती है जिसके न होने से लोगों परेशान रहते है. दरअसल, ट्रामा सेंटर की बिल्डिंग में लिफ्ट भी लगी हुई है. जो कुछ समय के लिए चालू हुई फिर वापस बंद हो गयी. जिस पर अभी तक हॉस्पिटल के किसी भी अधिकारियों ने इस ओर ध्यान नहीं दिया. जिससे आने वाले मरीजों को लिफ्ट बंद होने से बड़ी-बड़ी परेशानियों का सामना करना पड़ता है.
वहीं, लिफ्ट बंद होने से डिलीवरी वाली महिलाओं को स्ट्रेचर पर ले जाना पड़ता है. दरअसल, कहीं ना कहीं यह बहुत ही बड़ी चूक है कि लिफ्ट होने के बावजूद भी डिलीवरी वाली महिला और भी बीमार लोगों को पैदल या फिर किसी दूसरे की मदद से स्ट्रेचर या व्हीलचेयर द्वारा फर्स्ट फ्लोर एवं सेकंड फ्लोर पर जाना पड़ता है. सवाल यह उठता है कि 869.70 लाख की लागत से ट्रामा सेंटर को तैयार किया गया. फिर भी कहीं ना कहीं इतनी बड़ी चुप कैसे हो रही है.
लिफ्ट में है कुछ खराबी, जल्दी ही कराया जाएगा ठीक- CMHO
वहीं, सीएमएचओ डॉ राजू नींदारिया से बात की तो उनका कहना है कि लिफ्ट में कुछ खराबी आ जाने के कारण उसको जल्द ही ठीक करा दिया जाएगा. जब पत्रकारों ने अस्पताल में आ रहे तीमारदारों से बातचीत की तो उन्होंने कहा कि लिफ्ट बंद होने से हमें काफी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है. ऐसे में 4 लोगों की मदद के जरिए स्ट्रेचर से हमारे मरीजों को ऊपर जाना और लाना पड़ता है. जिससे मरीजों को बड़ी तकलीफ होती है.
जल्द से जल्द लिफ्ट हो चालू- तीमारदार
इस दौरान तीमारदारों का कहना है कि हम यही चाहते हैं कि जल्द से जल्द लिफ्ट चालू हो जाए. ताकि, अस्पताल में आने वाले अन्य लोगों को किसी तरह परेशानियों का सामना ना करना पड़े. हालांकि,ट्रामा सेंटर में लिफ्ट की व्यवस्था होने के बाद भी बंद क्यो पड़ी है. लिफ्ट किस कारण से बंद है लिफ्ट अभी तक चालू क्यों नहीं हुई यह सोचने वाली बात है.
(इनपुट- सय्याद आफताब अली, शाहजापुर)