उम्मीद मत हारो! जैसे थाइलैंड में बचाए थे बच्चे, वैसे ही उत्तरकाशी टनल से बाहर आएंगे 40 मजदूर

नई दिल्ली: उत्तराखंड के उत्तरकाशी में निर्माणाधीन टनल का एक हिस्सा ढहने के बाद 40 मजदूर फंस गए। अभी तक मजदूरों को बाहर नहीं निकाला जा सका है। आज लगातार चौथे दिन NDRF और SDRF की टीमें दुनियाभर के एक्सपर्ट्स के साथ मिलकर रेस्क्यू ऑपरेशन में जुटी हुई हैं। मजदूरों से संपर्क हो गया है और उन तक ऑक्सीजन और भोजन की सप्लाई की जा रही है। मजदूरों को बाहर निकालने में मदद करने के लिए थाईलैंड से एक्सपर्ट्स की टीम बुलाई गई है। उत्तरकाशी के टनल हादसे ने 2018 में हुए थाइलैंड के टनल हादसे की याद दिला दी। उस वक्त सुरंग में फंसे लोगों को 18 दिन में सुरक्षित बाहर निकाला गया।टनल में फंस गए थे 12 बच्चे और कोचये बात है साल 2018 की, जब थाइलैंड में एसोसिएशन फुटबॉल टीम के 11 से 16 साल की उम्र के 12 बच्चे और कोच एक टनल में फंस गए थे। टनल में पानी भर गया और हर तरप अंधेरा था। टनल में फंसे बच्चों को खोजने में ही रेस्क्यू टीम को 9 दिन लग गए। इसके बाद बच्चों को बाहर निकालने के लिए दुनियाभर के एक्सपर्ट्स आगे आए। इस रेस्क्यू ऑपरेशन में करीब 10 हजार लोगों ने हिस्सा लिया। रेस्क्यू ऑपरेशन में अमेरिका, ब्रिटेन, ऑस्ट्रेलिया, चीन और रूस जैसे कई देश आगे आए। इसके बाद 18 दिन बाद टनल में फंसे बच्चों और उनके कोच को बाहर निकाला गया।कैसे निकाले गए थे टनल से बच्चे?उस वक्त टनल से बच्चों को निकालने के लिए एक बेस तैयार किया गया। बच्चे जिस टनल में फंसे थे उसमें हर तरफ पानी और अंधेरा ही था। ऐसे में तय किया गया कि हर बच्चे को निकालने के लिए दो गोताखोर जाएंगे। एक गोताखोर बच्चे को बाहर निकालेगा और दूसरा उसके पीछे होगा। बच्चों तक पहुंचने के लिए बेहद पतली जगह में से होकर गुजरना था। गोताखोरों के साथ ऑक्सीजन टैंक भी थे। टनल में गाइडिंग रस्सी लगाई गई। बच्चों को बाहर निकालने से पहले बेहोश किया गया। इस ऑपरेशन के शुरू में कहा जा रहा था कि इसमें 4 महीने लग जाएंगे, लेकिन तीन दिनों में ही गोताखोरों ने बच्चों बाहर निकाल लिया। हालांकि ऑक्सीजन की कमी से रेस्क्यू कर रहे दो कर्मचारियों की मौत हो गई।उत्तरकाशी में भी बच जाएंगे मजदूरथाइलैंड में टनल में बच्चे फंसे हुए थे, हालांकि उनके कोच ने उनका मनोबल बढ़ाया और वो हिम्मत के साथ रहे। वहीं उत्तरकाशी में मजदूरों से संपर्क हो गया है, उनके परिजनों से भी बात कराई गई है। रेस्क्यू टीमें लगातार काम कर रही हैं। थाइलैंड और नार्वे में रेस्क्यू ऑपरेशन करने वाले एक्सपर्ट्स को भी बुलाया गया है। जिस तरह थाइलैंड में बच्चों को टनल से निकाला गया उसी तरह उत्तरकाशी में फंसे 40 मजदूरों को भी सुरक्षित बाहर निकाल लिया जाएगा।