Karnataka: आरक्षण पर SC में सुनवाई के बीच बोले बसवराज बोम्मई, यह मुसलमानों के खिलाफ नहीं, कांग्रेस झूठ बोल रही

कर्नाटक चुनाव में आरक्षण का मद्दा लगातार गर्म होता जा रहा है। मुसलमानों के आरक्षण को लेकर वार-पलटवार की राजनीति शुरू हो गई है। उच्चतम न्यायालय ने मंगलवार को निर्देश दिया कि कर्नाटक सरकार का मुस्लिमों के लिए चार प्रतिशत आरक्षण खत्म करने का फैसला नौ मई तक लागू नहीं होगा क्योंकि राज्य ने अपना जवाब दाखिल करने के लिए समय मांगा है। इसको लेकर भी राजनीति जारी है। कांग्रेस के आरोप पर कर्नाटक के सीएम बसवराज बोम्मई ने साफ तौर पर कहा कि यह मुसलमानों के खिलाफ नहीं है, कांग्रेस झूठ बोलती है।  इसे भी पढ़ें: धर्मनिरपेक्ष देश में धर्म के आधार पर आरक्षण क्यों? Karnataka और Telangana में Muslim Reservation के मुद्दे ने राजनीति को क्यों गर्मा दिया है?भाजपा नेता ने कहा कि मुसलमानों में पिंजारा, दर्जी जैसी 17 उपजातियां हैं – ये सभी आज भी पिछड़े और गरीब वर्ग में हैं। यह धार्मिक पृष्ठभूमि पर था। हमने इसे बदल दिया है- कुछ जो 4% में था, हमने 10% में पोस्ट किया है। इसके साथ ही उन्होंने कहा कि सुप्रीम कोर्ट में नौ मई को सुनवाई जारी रहेगी। कोर्ट ने कोई स्टे नहीं दिया है। हमने अदालत से कहा है कि सुनवाई पूरी होने तक हम इसे लागू नहीं करेंगे। कर्नाटक के सीएम ने कहा कि जया वाहिनी के रोड शो कार्यक्रम को लोगों का समर्थन मिल रहा है। लोगों का उत्साह इस बात का सबूत है कि राज्य में बीजेपी की जोरदार लहर है। अमित शाह ने चुनाव को लेकर कुछ सुझाव दिए हैं। उन्होंने पीएम के महत्वपूर्ण कार्यक्रमों की समीक्षा करने को कहा है। इसे भी पढ़ें: Karnataka में आरक्षण बना बड़ा मुद्दा, अमित शाह ने कांग्रेस पर उठाए सवाल, डीके शिवकुमार ने किया पलटवारकर्नाटक के विजयपुरा में अमित शाह ने कहा कि हमने आरक्षण के अंदर बड़ा बदलाव किया। संविधान धर्म के आधार पर किसी को आरक्षण की अनुमति नहीं देता। उन्होंने साफ तौर पर कहा कि कांग्रेस पार्टी ने वोट बैंक प्राप्त करने के लिए मुस्लिम आरक्षण दिया था, भाजपा की सरकार ने 4% मुस्लिम आरक्षण को खत्म करके लिंगायत और दलित समाज और सभी के आरक्षण में बढ़ोत्तरी की। वहीं, इस मामले पर कांग्रेस की ओर से भी पलटवार किया गया है। आरक्षण के मुद्दे पर कर्नाटक कांग्रेस प्रमुख डीके शिवकुमार ने कहा कि वे(भाजपा) स्वयं हलफनामे में विफल रहे। उन्होंने कहा कि सरकार के हलफनामे के मुताबिक कोर्ट ने फैसला लिया है। यह पूरी तरह से विफल है। सिर्फ चुनाव के लिए उन्होंने कुछ चॉकलेट देने की कोशिश की और यह पूरी तरह से विफल रहा।