बाप रे! किसानों ने दौड़ाकर गायों को रेलवे ट्रैक पर छोड़ दिया, 11 कट गए… UP में ये क्या हो रहा है

संभल: उत्तर प्रदेश के संभल से सनसनीखेज मामला सामने आया है। यहां आवारा पशुओं को रेलवे ट्रैक पर छोड़ दिया गया। किसानों की ओर से इस प्रकार की कार्य किए जाने की बात कही जा रही है। आवारा पशुओं को रेलवे ट्रैक पर दौराए जाने से 11 गायों के ट्रेन की चपेट में आकर कटकर मौत की भी सूचना है। बड़ी संख्या में गाय और अन्य मवेशियों के जख्मी होने का समाचार सामने आया है। कहा जा रहा है कि शनिवार की सुबह नाराज किसानों ने मवेशियों को कथित तौर पर ट्रैक पर छोड़ दिया। दो दर्जन आवारा पशुओं का झुंड ट्रैक पर दौड़ रहा था। इसी दौरान तेज रफ्तार 14113 देहरादून एक्सप्रेस आ गई। उसने मवेशियों को कुचल दिया। इस हादसे में 11 गायों की मौके पर ही मौत हो गई। वहीं, कई अन्य गंभीर रूप से घायल हो गए।आवारा गायों के झुंड के ट्रेन की चपेट में आने का मामला बहजोई थाना क्षेत्र के लहरावन गांव का बताया जा रहा है। ट्रेन की गायों के झुंड से टक्कर के बाद गाड़ी को रोका गया। घटना के एक घंटे के बाद ट्रेन को आगे के लिए रवाना किया जा सका। स्थानीय लोगों ने कहा कि गायें अलीगढ़-मुरादाबाद ट्रैक के पास खेतों में फसलों को नष्ट कर रही थीं। किसानों ने शायद गुस्से में उन्हें ट्रैक की ओर दौड़ा दिया। दुर्घटना के तुरंत बाद दक्षिणपंथी कार्यकर्ताओं ने विरोध प्रदर्शन किया। गायों की मौत के लिए जिम्मेदार लोगों के खिलाफ कार्रवाई की मांग की।लहरावन गांव की मिश्रित आबादी है। रिहायशी इलाका पटरियों से लगभग 500 मीटर दूर है। आवारा मवेशियों के खतरे को लेकर क्षेत्र के किसानों की ओर से कई बार शिकायत की गई है। हालांकि, आवारा मवेशियों के लिए आश्रय स्थल नहीं होने के कारण ये बाहर घूमते रहते हैं। अक्सर फसल के खेतों में चरते हैं। खुद को गोरक्षक बताने वाले अजय प्रजापति ने कहा कि पिछले दो महीनों में इस क्षेत्र से इस तरह की एक दर्जन से अधिक घटनाओं की सूचना मिली है। रेलवे पटरियों पर दौड़ाए जाने से गायों की मौत हुई है।अजय प्रजापति ने कहा कि स्थानीय लोगों ने इस घटना को छिपाने की भी कोशिश की। हमारे ‘गौ रक्षक’ बंटी कुमार ने हमें घटना की जानकारी दी। हमने इस घटना के संबंध में एसडीएम चंदौसी रामकेश धामा, एक पशु चिकित्सक और बहजोई एसएचओ को सूचित किया। हमने एक लिखित शिकायत दी है। गायों की मौत के लिए प्राथमिकी दर्ज करने की मांग की है। ताजा घटना जिले के जुनावाई इलाके में स्थानीय लोगों की ओर से आवारा पशुओं को एक व्यस्त सड़क की ओर धकेल कर स्टेट हाइवे को जाम करने के कुछ दिनों बाद हुई है।एसडीएम रामकेश धामा ने कहा कि एक पखवाड़े में इस गांव के पास इस तरह की यह तीसरी घटना है। हमने पुलिस से यह पता लगाने के लिए कहा है कि क्या यह दुर्घटना थी, या कोई जानबूझकर मवेशियों को मार रहा है। अगर कोई दोषी पाया गया तो कड़ी कार्रवाई की जाएगी। हम इस खंड में ट्रेनों की गति सीमा की जांच करने और ऐसी घटनाओं को रोकने के लिए अन्य आवश्यक कदम उठाने के लिए रेलवे को लिखेंगे। उन्होंने कहा कि हम सभी आवारा मवेशियों को आश्रय गृह में स्थानांतरित करने की भी योजना बना रहे हैं। आश्रय गृह अभी निर्माणाधीन है, लेकिन जल्द ही इसे पूरा कराया जाएगा।