साउथ अफ्रीका से 12 चीते पहुंचे ग्वालियर, थोड़ी देर में कूनो नेशनल पार्क में होगा वेलकम

दक्षिण अफ्रीका से लाए जा रहे 12 चीते इंडिया पहुंच गए हैं. सुबह करीब दस बजे इन चीतों को लेकर भारतीय वायुसेना का सी-17 ग्लोबमास्टर मालवाहक विमान ग्वालियर एयरपोर्ट पर उतर गया है. यहां से इन चीतों को हेलीकॉप्टर से कूनो ले जाया जाएगा. जहां उन्हें कुछ दिनों तक छोटे बाड़े में रखा जाएगा और फिर यहां के वातावरण के अनुकूल होने पर खुले जंगल में छोड़ दिया जाएगा. कूनो पहुंचने पर खुद मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान इन चीतों का स्वागत करेंगे और इन्हें बाड़े में रिलीज करेंगे.
चीता प्रोजेक्ट से जुड़े अधिकारियों के मुताबिक दक्षिण अफ्रीका से लाए जा रहे इन चीतों में सात नर हैं और पांच मादा चीते शामिल हैं.इससे पहले सितंबर 2020 में नामीबिया से आठ चीतों को लाया गया था. इन चीतों को प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी ने खुद अपने जन्मदिन के अवसर पर 17 सितंबर को कूनो नेशनल पार्क में छोड़ा था. ऐसे में 12 नए चीतों के आने के बाद कूनो नेशनल पार्क में चीतों की आबादी 20 हो जाएगी. गौरतलब है कि साल 1952 में भारत की धरती से चीतों को विलुप्त घोषित कर दिया गया था. भारत सरकार ने पारिस्थितिक तंत्र में संतुलन बनाने के उद्देश्य से पिछले दिनों अफ्रीकी देशों से चीतों को लाने की योजना तैयार की थी.

#WATCH दक्षिण अफ्रीका से 12 चीतों को लेकर भारतीय वायु सेना (IAF) का C-17 ग्लोबमास्टर विमान मध्य प्रदेश के ग्वालियर पहुंचा। pic.twitter.com/sZoD6sT3NF
— ANI_HindiNews (@AHindinews) February 18, 2023

इसी क्रम में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की पहल पर 71 साल बाद एक बार फिर से भारत की धरती को चीतों से आबाद किया जा रहा है. इसे देश के वन्य जीवन के इतिहास में एक नए युग की शुरूआत माना जा रहा है.
भारत सरकार का महत्वाकांक्षी प्रोजेक्ट
देश की धरती को एक बार फिर से चीतों को बसाने के लिए भारत सरकार ने महत्त्वाकांक्षी प्रोजेक्ट तैयार किया है. इस प्रोजेक्ट का नाम भी ‘प्रोजेक्ट चीता’ दिया गया है. इस प्रोजेक्ट के तहत वन्य प्रजातियों विशेषकर चीतों के संरक्षण के लिए अंतरराष्ट्रीय यूनियन फॉर कंजर्वेशन ऑफ नेचर (आईयूसीएन) के दिशा-निर्देशों के तहत चीतों को भारत लाया जा रहा है. इस प्रोजेक्ट के तहत अब तक 20 चीते भारत लाए जा चुके हैं. इस प्रोजेक्ट के तहत भारत सरकार ने पहले ही दक्षिण अफ्रीका के साथ एक एमओयू साइन किया है.
रेडियो कॉलर से लैस हैं सभी चीते
प्रोजेक्ट से जुड़े अधिकारियों के मुताबिक दक्षिण अफ्रीका से लाए जा रहे सभी 12 अफ्रीकन चीते रेडियो कॉलर से लैस हैं. इन्हें वहीं से रेडियो कॉलर लगाकर लाया गया है. इससे इनकी नियमित निगरानी हो सकेगी. अधिकारियों ने बताया कि इन चीतों को दक्षिण अफ्रीका से कूनो नेशनल पार्क लाने के बाद उनके स्वास्थ्य की जांच की जाएगी. यह सभी चीते एक महीने तक क्वारंटाइन में रहेंगे. वहीं जब यहां के पर्यावरण के अनुकूल हो जाएंगे तो इन्हें खुले जंगल में छोड़ दिया जाएगा. नामीबिया से लाए गए चीतों को भी क्वारंटाइन में रखा गया था.